Detail Information about Cancer

कैंसर (Cancer)

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कैंसर (Cancer) एक असंक्रामक रोग है, जो एक ग्रीक शब्द कार्कीनोस (Carcinos) से बना है जिसका अर्थ – घातक ट्यूमर है। वह बिमारी है जिसमें सामान्य कोशिका की नियमित प्रक्रियाएँ भंग हो जाती हैं कोशिकाओं का अनियमित विभाजन होता है व उभरने वाली कोशिकाए शरीर के अन्य भागों की ओर गति करती है और एक गांठ का रूप धारण कर लेती है जिसे ट्यूमर कहते है। टयूमर के दो प्रकार होते है –

  1. सूदम टयूमर – यह कम हानिकारक टयूमर है यह जहाँ बनता है उसी स्थान पर रहता है इधर उधर फैलता नहीं है जैसे–मस्सा । यह फिर भी पीड़ाकरी हो सकता है।
  2.  दुर्दम टयूमर – ये कैंसरकारी ट्यूमर है जिनमें तीव्र विकसित होने की क्षमता होती है क्योकि वृद्धिकारी कोशिकाओं का जीवन काल अनन्त होता है ये रक्त वाहिनियों में रक्त परिसंचरण को प्रभावित करती है। और तीव्र गति से हानिकारक बनती जाती है। इसकी कोशिकाए रक्त व लसिका के द्वारा शरीर के दूसरे भागों में भी पहुँच जाती है। यहाँ पहुँचकर ये दुसरी गांठों का निर्माण कर लेती है इस प्रकार उस भाग में भी दुर्दम टयूमर बन जाते है। इस क्रिया को मेटास्टेसिस कहते हैं। ये मृत्यु का कारण बनते है। जब ये जीवित भागों के कार्यों में रूकावट डालते हैं।

कैन्सर के प्रकार (Types of cancer):

प्रभावित उतकों के आधार पर कैंसर निम्न प्रकार के होते है।

कार्सिनोमास (Carcinoma)– इनकी उत्पति एपीथीलियल उतकों जैसे – त्वचा,ग्रथियॉ,आंतरिक अंगों की एपीथीलियल सतह जैसे- म्यूकस, फेफडे, स्तन,आमाशय,मुख,गला, गर्भाशय,सर्विक्स,प्रॉस्टेट आदि से होती है। यह पूर्ण टयूमर का लगभग 85 प्रतिशत होता है।

 मेलैनोमास (Melanomas) ये त्वचीय असीताणूओं व अन्य अंगों से होने वाले टयूमर होते हैं। जैसे – श्लेष्मिक मेलानोमा, पिंडाकार मेलानोमा सतह पर फैलने वाला मेलानोमा आदि।

सार्कोमास (Sarcomas)– यह मीसोडर्मल कोशिका की कैंसर युक्त वृद्धि है। जैसे- हडिडयॉ,उपास्थि.वसा आदि। ये मनुष्य में सम्पूर्ण टयूमर का 1 प्रतिशत होती है । जैसे- हड्डियों का कैंसर (ऑस्टियोमा), वसा उतकों का कैंसर (लाइपोमा)।

ल्यूकेमिया (Leukemia)– यह कैन्सर रक्त एवं अस्थिमज्जा में रक्त कोशिकाओं एवं उनकी पृर्वगामी कोशिकाओं में अनियत्रित विभाजन द्वारा उत्पन्न होता है। जैसेः- रक्त कैन्सर ।

लिम्फोमास (Lymphoma)– लसिका गाँठ में वृद्धि हो जाती है साथ ही प्लीहा और अन्य लसीका ऊतकों में भी वृद्धि हो जाती है। इसे हाकिन्स की बीमारी कहते है।

मायोमा (Mayoma)– पेशी ऊतकों का कैन्सर।

ऐडीनोमा (Adenoma)– ग्रन्थियों का कैन्सर।

ग्लियोमा (Glioma)– केन्द्रीय तन्त्रिका तन्त्र की ग्लियल कोशिकाओं का कैन्सर।

कैंसर के कारण (Causes of cancer):

कैंसर उत्पन्न करने वाले कारक सामान्यतः कैंसरजन कहलाते हैं। ये कैंसरजनी कारक कोशिकाओं में उपस्थित कुछ विशेष जीन्स,आन्कोंजीन्स को उतेजित कर सकिय ऑन्कोजीन्स में परिवर्तित कर देते है। सक्रिय ऑन्कोजीन्स के प्रभाव में विभाजनशील कोशिकाएँ अनियंत्रित तथा अनियमित रूप से विभाजित होकर कैन्सर उत्पन्न करती है।

नोट –  ऑन्कोजीन की खोज रावर्ट वीन वर्ग ने की। 

धूम्रपान,अनेक रासायनिक पदार्थ , पर्यावरणीय कारक,पारिवारिक कारक,विकिरण,एल्कोहल,भोज्य पदार्थों में उपस्थित घटक, विषाणु इत्यादि प्रमुख कैन्सरजनी कारक है। वे रसायन जो कैन्सर उत्पन्न करते है कार्सीनोजन कहलाते हैं। जैसे- निकोटिन,कैफीन,मस्टर्ड गैस,आर्सेनिक, कैडमियम ऑक्साइड, ऐस्बेस्टॉस, निकल एंव कोमियम, विनाइलक्लोराइड, बैन्जीन, डाइएथिलस्टीबेस्ट्रोल, कोलतार (3,4–बेन्जोपाइरीन), सिगरेट का धुआँ (N-नाइट्रोसोडाइमिथाइलीन), ऐफ्लाटॉक्सिन (फफुदी का उपापचयी उत्पाद), कैडमियम ऑक्साइड, बैन्जीन आदि।

धुम्रपान एवं मद्यपान के अलावा भारत में कुपोषण भी कैन्सर के फैलने का कारण है। भोजन में विटामिन ए तथा लौह तत्व की कमी कैन्सर का एक प्रमुख कारण है।

मानव में गुणसूत्री अप सामान्यता के कारण दो प्रकार के कैन्सर उत्पन्न हो सकते है जो निम्न है –

  1. जीर्ण मज्जाश्वेतरक्तता – यह धातक ल्यूकीमिया मुख्यतः गुणसूत्र-22 एंव गुणसूत्र 9 के बीच पारस्परिक स्थानान्तरण के कारण उत्पन्न होता है। 
  2. बर्किट का लिम्फोमा – यह एक श्वेतरक्ताणु कैन्सर है जो गुणसूत्र 8 एंव गुणसूत्र 14 के बीच पारस्परिक स्थानान्तरण से होता है।

कैंसर कोशिकाओं के लक्षण (Symptoms of Cancer Cells):

  1. अमरता
  2. रूपान्तरण
  3. अपरूपान्तरण
  4. अपेक्षाकृत बड़ा केन्द्रक
  5. केन्द्रिकाओं की संख्या में वृद्धि
  6. पॉलिराइबोसोम्स का निर्माण
  7. हासित गॉल्जीकाय
  8. अनियमित प्लैज्माकला आदि।

कैन्सर का निदान (cure cancer):

बायोप्सी (Biopsy)– गांठ को सर्जरी द्वारा हटा दिया जाता है।

रेडियोथेरैपी (Radiotherapy)– विकिरण द्वारा कैंसर कोशिकाओं को नष्ट किया जाता है इसके लिए रेडॉन,आयोडीन,और कोबाल्ट आदि रेडियोआइसोटोप है।

कीमोथेरेपी (Chemotherapy)– इसमे रासायनिक यौगिकों से उत्पन्न हुई औषधियों द्वारा उपचार किया जाता है। कई रसायनों के द्वारा कैन्सर कोशिकाओं को नष्ट किया जाता है जैसे- विनक्रिस्टिन, विनब्लास्टिन। ये दोनो औषधियाँ एक पादप कैथेरेन्स रोजियस से प्राप्त की जाती है। व ल्यूकीमिया के उपचार में उपयोगी है।

NOTE : 07 नवम्बर को विश्व कैन्सर जागरूकता दिवस मनाया जाता है।

 

 

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